नई दिल्ली/रायपुर- जीएसटी बैठक में कई महत्वपूर्ण फैसले लिए गए हैं. बैठक के बाद वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि राज्यों को आज देर रात 20 हजार करोड़ रुपये का जीएसटी भुगतान कर दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि बैठक में केंद्र के प्रस्ताव से 20 राज्य सहमत थे. लेकिन कुछ राज्यों ने प्रस्ताव को ठुकरा दिया. एक तरह से बैठक में जीएसटी मुआवजा का मुद्दा सुलझ नहीं पाया है. वित्त मंत्री ने कहा कि आगे बैठक में फिर असुलझे मुद्दों पर बात होगी. वहीं बैठक में यह तय हुआ है कि लग्जरी और कई अन्य तरह की वस्तुओं पर लगने वाले कम्पनसेशन सेस को 2022 से भी आगे बढ़ाया जाएगा. यानी कार, सिगरेट जैसे प्रोडक्ट पर कम्पनसेशन सेस आगे भी लगता रहेगा, राज्यों को नुकसान से बचाने के लिए यह निर्णय लिया गया है. नियम के मुताबिक यह जीएसटी लागू होने के बाद सिर्फ पांच साल तक लगना था. गौरतलब है कि राज्य करीब 2.35 लाख करोड़ रुपये का जीएसटी का बकाया मुआवजा देने की केंद्र सरकार से मांग कर रहे हैं. इसके बदले में केंद्र ने उन्हें उधार लेने के दो विकल्प दिए हैं. लेकिन केंद्र की इस पेशकश को लेकर राज्य बंटे हुए हैं.

क्या है मुआवजे का गणित
राज्यों का करीब 2.35 लाख करोड़ रुपये का जीएसटी मुआवजा बकाया है, लेकिन केंद्र सरकार का गणित यह है? कि इसमें से करीब 97,000 करोड़ रुपये का नुकसान ही जीएसटी लागू होने की वजह से है, बाकी करीब 1.38 लाख करोड़ रुपये का राजस्व नुकसान कोरोना महामारी और लॉकडाउन की वजह से है.

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